Thursday, June 25, 2009

ज्योतिष की सार्थकता: क्या यमलोक सिर्फ एक परिकल्पना है?

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    • गरूड पुराण की कथा में एक जगह वर्णित है कि उस लोक(यमलोक) में बारहों सूर्य ऐसे तपतें हैं, जैसे प्रलय के अंत में अग्नि रूप में तपते हैं।अब क्या ये संभव नंही हो सकता कि सचमुच उस लोक(या ग्रह, जो भी आप कह लें) पर 12 सूर्य हों। अब इस विचार को तो स्वयं विज्ञान भी मान कर चल रहा है कि इस सृ्ष्टि में अनेक सौरमण्डल(सूर्य) मौजूद हैं।तो क्या ये नहीं हो सकता कि जिस प्रकार हमारे सौरमंडल में एक सूर्य चमक रहा है, उसी प्रकार वहां के सौरमंडल में 12 सूर्य चमकते हो।

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